Guru Purnima 2020:गुरु के बिना जीवन है अधुरा

गुरु पूर्णिमा का दिन 5 जुलाई का यह एक त्यौहार कई सालो से चला आ रहा है .अपने गुरु के प्रति आस्था और प्यार को प्रकट किया जाता है.हिन्दू पंचांग के अनुसार आशान माह पूर्णिमा के दिन यह त्यौहार मनाया जाता है .इसे व्यास पूर्णिमा भी कहा जाता है .इस दिन चारो वेद और महाभारत जेसे महाकाव्य के रचयिता वेद व्यास की जयंती के रूप के भी मनाया जाता है .
गुरु शिष्य की आज का दिन गुरु पूर्णिमा का दिन है कुछ खास बनाते है एक गुरु का जीवन में शिष्य के प्रति प्यार और शक्ति क्या है गुरु का कितना बड़ा साथ होता है अपने शिष्य को आगे बढ़ने में .
नीम करोली बाबा फुल स्टोरी इन हिंदी और बाबा के भक्त देश-विदेशो में है
Guru Purnima :सफलता का मूल मंत्र
कहते है अगर सही समय पर एक ऐसे व्यक्ति का साथ मिल जाये जो हमें उस रास्ते में चलना सिखा दे तो सफलता हमें अपने आप मिल जाएगी वही है तुम्हारा गुरु ,अब तुम्हारा गुरु कौन हो सकता है आसपास देखो और जानो .में यह खाली लिखित बाते आज नहीं कह रहा हु .आगे कुछ उदाहरण भी देने वाला हु .
आइये कुछ उदाहरण से समझते है बाते -दिनभर की दौड़ती जिंदगी से हम अपने आप को कम समय दे रहे है और हम सोचते है हमें कोई समझाने वाला आएगा वो हमारी जिंदगी बदलेगा और हम तभी करेंगे .इस तरह हम एक-दुसरे पर निर्भर हो चुके है .बल्कि ऐसा कभी नहीं होगा .अपने आप को समझे अपने आदतों को समझे और कोशिस करे धीरे-धीरे से सुधार करने की क्यूंकि कोई कम इतनी जल्दी से सही नहीं होता है .पहले अपना खुद गुरु बने और शिष्य भी खुद बने .उसके बाद आपको जरुरत है एक व्यक्ति की जो आपको समझता है और जो तुम्हारी मदत करता है वो कोई भी हो सकता है .पापा ,माँ ,भाई ,दोस्त ,अध्यापक ,आदि .कुछ सहायता जरुर मिली होगी .
हमारी कोशिस रही आपको थोडा गुरु और शिष्य के बारे में किस तरह गुरु के बिना जीवन अधुरा है Guru Purnima दिवस की पुन: सुभकामनाए आपके गुरु कौन है कमेंट करे
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